Low Light Photography Kaise Karein? | Tips for Low Light Photography in Hindi

 

Low Light Photography (कम रोशनी में की जाने वाली फोटोग्राफी) एक चुनौती भरा काम है। अच्छी फोटोग्राफी के लिए भरपूर रोशनी की ज़रूरत होती है। दिन की रोशनी में या स्टूडियो की कृत्रिम लाइटिंग के साथ अच्छे एक्सपोज़रवाली फोटो खींचना आसान होता है। लेकिन, समस्या तब आती है जब फोटो खींचने के लिहाज से रोशनी पर्याप्त ना हो तब हम क्या करें। जानिए इस ब्लॉग में Low Light Photography Kaise Karein और लौ लाइट फोटोग्राफी से जुडी कुछ आसान टिप्स  

 

Low Light photography कैसे करें

 

फोटोग्राफी के लिए कम रोशनी की समस्या आम तौर पर शाम को, सूरज ढलने के बाद और सुबह सूरज निकलने से पहले होती है। लेकिन दिन के समय भी ऐसे सिचुएशन आ सकती है जहां फोटोग्राफी के लिहाज से लाइट कम हो। उदाहरण के लिए जब दिन के समय इनडोर शूटिंग करनी पड़े या घने पेड़ों से घिरी जगह में फोटोग्राफी करनी हो। तो हमें इस समस्या का सामना करना पड़ता है। इसलिए आपकी इस समस्या के समाधान के लिए आज के लेख में हम जानेंगे कि ‘कम रोशनी में फोटोग्राफी कैसे करें? (Low Light Photography Kaise Karein) जो आपकी हमेशा कम लाइट वाली स्थितियों में या रात के समय फोटोग्राफी करने में मदद करेंगी।

Tips for Low Light Photography in Hindi

 

1. आईएसओ बढ़ाएं (Increase Iso)

आईएसओ बढ़ाएं

 

डिजिटल कैमरे में आईएसओ  सेट करने की सुविधा होती है जिसकी मदद से आप सीन के एक्सपोज़र को बढ़ा या घटा सकते हैं। आईएसओ बढ़ाने से डिजिटल कैमरे के फोटो सेंसर की लाइट सेंसिटिविटी बढ़ जाती है। इससे होता यह है कि वास्तविक रूप से लाइट बढ़ाए बिना ही फोटो थोड़ी अधिक ब्राइट हो जाती है। लेकिन, इसके लिए फोटो क्वालिटी से थोड़ा समझौता करना पड़ता है, क्योंकि higher ISO पर फोटो में नॉइज दिखने लगते हैं। लेकिन यह कोई बहुत निराश होने वाली बात नहीं है। आधुनिक डीएसएलआर कैमरे में ऊंचे आईएसओ पर भी नॉइज को बहुत हद तक नियंत्रित कर लेते है। साथ ही, आप पोस्ट प्रॉसेसिंग के दौरान फोटो में नॉइज कम कर सकते हैं।

 

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2. फ्लैश का इस्तेमाल (Use Flash)

 

फ्लैश का इस्तेमाल

 

अगर कैमरे में फ्लैश की सुविधा है तो इसका इस्तेमाल लो लाइट फोटोग्राफी (low light photography in Hindi) का सबसे आसान उपाय है। लेकिन फ्लैश के साथ दो समस्याएं आती हैं-

(i) फ्लैश की तेज लाइट आपके सीन के मूड और इफेक्ट को बिगाड़ सकती है। नजदीक का ऑब्जेक्ट भद्दे तरीके से अधिक एक्सपोज्ड हो सकता है।

(ii) यह आपके candid moment को खराब कर सकती है। यानी, फ्लैश की रोशनी आपके सब्जेक्ट को असहज कर सकती है, खासकर जब आप लोगों के कैन्डिड फोटो लेते हैं या आप वाइल्डलाइफ शूटर हैं या जीव-जंतुओं के फोटो लेते हैं।

 

 

3. फास्ट लेंस का उपयोग (Fast Lens Use)

 

Fast Lens Use

 

Tips for Low Light Photography in Hindi - फास्ट लेंस वे लेंस होते हैं जिनका f-नंबर बहुत छोटा होता है, जैसे- f/1.4, f/1.8, f/2.8 etc. इस तरह के छोटे f-नंबर वाले लेंस के अपर्चर (लेंस का छिद्र) बड़े होते हैं जिससे होकर कैमरे के फोटो-सेंसर तक अधिक मात्रा में लाइट पहुंच पाती है। 

आप समझ गए होंगे कि अपनी इस खूबी के कारण फास्ट लेंस कम रोशनी वाले सिचुएशन के लिए कितना उपयोगी होते हैं। फास्ट लेंस थोड़े महंगे हो सकते हैं और ये फिक्स्ड फोकल लेंथ वाले प्राइम लेंस होते हैं यानी, जिन्हें आप जूम नहीं कर सकते।

 

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4. Slow शटर-स्पीड: (Slow Shutter Speed)

 

Slow शटर-स्पीड

 

शटर-स्पीड को धीमी रखकर फोटो के लिए अधिक एक्सपोजर पाया जा सकता है। डिजिटल कैमरे में ऐसा करने की सुविधा होती है। स्थिर (still) सीन के लिए स्लो शटर स्पीड उपयोगी है। लेकिन इसमें आपको अपना कैमरा भी स्थिर रखना होगा, जिसके लिए आपको tripod का सहारा लेना होगा। बिल्डिंग के एक्स्टीरियर या इंटीरियर, रात में शहर की टिमटिमाती रोशनी, तारों भरा आकाश, चांद, सूर्यास्त और सूर्योदय के वक्त के लैंडस्केप ऐसे उदाहरण हैं जिनके लिए आप ट्राइपॉड की मदद लेकर स्लो शटर-स्पीड फोटोग्राफी कर सकते हैं।

लेकिन स्लो शटर-स्पीड फोटोग्राफी हर जगह कामयाब नहीं होती। यदि आप तस्वीर में जानबूझकर मोशन ब्लर नहीं डालना चाहते तो आप शटर-स्पीड को एक सीमा से कम नहीं रख सकते। फिर भी, सीन के हिसाब से आपको शटर-स्पीड minimum रखना होगा।

 

5.Tripod का सहारा:(Tripod Support)

 

Tripod का सहारा

 

Tips for Low Light Photography in Hindi - जैसा कि आपने ऊपर देखा ट्राइपॉड की मदद से शटर-स्पीड को बेहद स्लो रखकर फोटो ली जा सकती है। ट्राइपॉड कैमरे को हिलने (camera shake) से बचाता है और इसलिए आप मनचाहे लेवल तक शटर-स्पीड को स्लो रख सकते हैं। स्लो शटर-स्पीड की स्थिति में ट्राइपॉड कैमरा शेक से तो बचाता है, लेकिन सीन में होने वाला मूवमेंट शटर-स्पीड के स्लो होने की वजह से ‘मोशन ब्लर’ (motion blur) के रूप में दिखता है। इसलिए कम रोशनी में लैंडस्केप फोटोग्राफी और स्टिल लाइफ फोटोग्राफी के लिए ट्राइपॉड सबसे उपयुक्त टूल है।

 

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6. RAW मोड में शूट करें (Shoot in RAW Mode)

 

RAW मोड में शूट करें

 

प्रायः किसी भी डिजिटल कैमरे से हम jpeg मोड में शूट करते हैं। इसका अर्थ यह होता है कि फोटोग्राफर द्वारा सेट किए गए वैल्यूज के अनुसार डिजिटल कैमरा फोटो प्रॉसेसिंग कर देता है और हमें पूरी तरह से तैयार फोटो मिलती है। यानी jpeg मोड में इन-कैमरा फोटो प्रॉसेसिंग होती है, जो हमारे द्वारा सेट किए गए व्हाइट बैलेंस, कलर सैचुरेशन, ब्राइटनेस, कंट्रास्ट, शार्पनेस जैसे पैरामीटर्स के आधार पर होती है। इस jpeg में हमें बनी-बनाई रेडीमेट डिजिटल फोटो तो मिल जाती है लेकिन इसमें फोटो का डीटेल लॉस होता है।

सभी डीएसएलआर, मिररलेस और एडवांस्ड पॉइंट & शूट कैमरों में RAW मोड दिया गया होता। RAW मोड में हम कैमरे के अंदर कोई पिक्चर पैरामीटर सेट नहीं करते। इसमें इन-कैमरा फोटो प्रॉसेसिंग नहीं होती। कैमरे का सेंसर केवल उतना ही दर्ज करता है जितना सीन में होता है। फोटो में फुल डीटेल्स और शार्पनेस सुरक्षित रहते हैं, वैसे तो jpeg फोटो को थोड़ा बहुत पोस्ट प्रॉसेसिंग कर निखारा जा सकता है। लेकिन RAW इमेज को पोस्ट प्रॉसेसिंग में मनचाहे तरीके से सुधारने की गुंजाइश बहुत रहती है। हां, लेकिन इस मोड में लिए गए फोटो को सॉफ्टवेयर के जरिए यूजेबल jpeg फॉर्मेट में बदलने के लिए कंप्यूटर पर आपको थोड़ा ज्यादा समय और मेहनत देनी होगी। तो, लाइट फोटोग्राफी के लिए RAW मोड में शूट करना अच्छा होता है। 


निष्कर्ष (Conclusion)

 

वैसे तो फोटोग्राफी एक कला है, जो हर व्यक्ति में उपस्थित होती हैं। पर कला को निखारने की आवश्यकता होती हैं और अगर हम उसको नहीं निखारेंगे तो वह धीरे-धीरे लुप्त हो जाएगी। इसलिए कभी भी कठिन कार्यों से भ्रमित ना हो बल्कि उसे सीखें और उस क्षेत्र में अपने ज्ञान को बढ़ाएं और अपने जीवन को कलात्मक दिशा प्रदान करें।   

उम्मीद है आप लोग समझ चुके होंगे Low Light Photography Kaise Karein और लौ लाइट फोटोग्राफी से जुड़ी किन बातों को आपको ध्यान रखना हैं।

 

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